आखिर किस सूरत में राष्ट्रपति पद से हट सकते हैं ट्रंप, जाने क्या है संख्या का बड़ा खेल
राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप महाभियोग की प्रक्रिया को आसानी से पार कर ले जाएंगे। लेकिन यह कैसेट संभव होगा। इसकी क्या वजहें हैं। जी हां, लोकतंत्र में संख्या का खेल अहम है। इसलिए ट्रंप इस संख्या खेल में बाजी मार ले जाएंगे। आखिर क्या है संख्या की गणित और कैसे इस समस्या से पार पाएंगे ट्रंप। निचले सदन में ट्रंप को हार का सामना करना पड़ा। अमरीकी इतिहास में ट्रंप ऐसे तीसरे राष्ट्रपति हैं जिनके ख़िलाफ़ महाभियोग को मंज़ूरी दी गई है। लेकिन उच्च सदन में उनके दल का बहुमत है। यानी उनकी रिपब्लिकन का दबदबा है। इसलिए उम्मीद की जा रही है ट्रंप यहां इस समस्या को पार करने में सफल हो जाएंगे।
20 रिपब्लिकन सांसदों पर टिका ट्रंप का भविष्य
ट्रंप की सत्ता भी फिलहाल सुरक्षित है, क्योंकि महाभियोग की प्रक्रिया निचले सदन में पूरी भी होने के बाद भी रिपब्लिकन बहुमत वाली सीनेट से उसका पास होना मुश्किल है। सीनेट में रिपब्लिक का नियंत्रण है ऐसे में इस बात की संभावना बेहद कम है कि ट्रंप को राष्ट्रपति पद से हटाया जा सकेगा। ट्रंप केवल एक सूरत में हट सकते हैं, जब कम से कम 20 रिपब्लिकन सांसद उनके खिलाफ विद्रोह का झंडा उठा लें। फिलहाल इसकी गुंजाइश कम ही है। इसलिए यह माना जा रहा है ट्रपं की कूर्सी सुरक्षित है।
निचले सदन में हुई वोटिंग की प्रक्रिया पूरी
अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के खिलाफ महाभियोग की कार्यवाही सीनेट में होगी, बुधवार को निचले सदन में हुई वोटिंग की प्रक्रिया पूरी हो गई। अमेरिकी राष्ट्रपति ट्रंप पर सत्ता के दुरुपयोग और संसद के काम में अवरोध पैदा करने के आरोप। 21 जनवरी से शुरू हो सकती है महाभियोग की कार्यवाही की अध्यक्ष्ता सुप्रीम कोर्ट के चीफ जस्टिस करेंगे। हालांकि सीनेट में रिपब्लिकन पार्टी का दबदबा इसलिए उम्मीद है कि डॉनल्ड ट्रंप राष्ट्रपति पद पर बने रहेंगे। हालांकि निचले सदन में डेमोक्रेट्स का दबदबा है। 438 सदस्यीय निचले सदन में डेमोक्रेट्स का दबदबा है। लेकिन उच्च सदन में रिपब्लिकन का वर्चस्व है। इसलिए उम्मीद की जा रही है कि महाभियोग
स्पीकर नैन्सी पेलोसी ने महाभियोग के लेखों पर किए हस्ताक्षर
इस बीच डेमोक्रेटिक हाउस के स्पीकर नैन्सी पेलोसी ने महाभियोग के लेखों पर हस्ताक्षर किए, जो ट्रंप पर कांग्रेस के साथ दुर्व्यवहार और बाधा डालने का आरोप लगाते हैं। पेलोसी ने कहा कि हमारे देश के लिए यह दुखद है। बेहद दुखद है। राष्ट्रपति द्वारा हमारी राष्ट्रीय सुरक्षा को कमजोर करने, उनके पद की शपथ लेने और हमारी सुरक्षा को खतरे में डालने के लिए की गई कार्रवाइयाें पर हस्ताक्षर के लिए औपचारिक पेन का उपयोग करना पड़ा। यह हमारे लिए दुखद है।
सात महाभियोग प्रबंधकों की नियुक्ति की
ट्रंप के खिलाफ संसद के निचले सदन में चल रही महाभियोग की कार्यवाही को ऊपरी सदन सीनेट भेजने के पक्ष में सांसदों ने मतदान किया। ट्रंप के खिलाफ महाभियोग की कार्यवाही सीनेट में चलाए जाने के पक्ष में 228 ने जबकि विपक्ष में 193 सांसदों ने वोट दिया। सत्ता के दुरुपयोग और संसद के काम में अवरोध पैदा करने के आरोप में राष्ट्रपति ट्रंप के खिलाफ महाभियोग अब सीनेट में चलेगा। निचले सदन ने सात महाभियोग प्रबंधकों की नियुक्ति की गई है। ये महाप्रबंधक डेमोक्रेट्स की तरफ से ट्रंप को राष्ट्रपति पद से हटाने के लिए बहस करेंगे। इन प्रबंधकों की नियुक्ति निचले सदन की स्पीकर नैंसी पेलोसी ने की है। बता दें कि 438 सदस्यीय निचले सदन में डेमोक्रेट्स का दबदबा है। सदन ने 18 दिसंबर को ट्रंप के खिलाफ महाभियोग चलाने की मंजूरी दी थी। अमेरिका के 45वें राष्ट्रपति डॉनल्ड ट्रंप देश के इतिहास के तीसरे ऐसे राष्ट्रपति हैं जिनके खिलाफ महाभियोग चलाने की मंजूरी दी गई है।
अाखिर ट्रंप पर क्या है आरोप
- ट्रंप पर आरोप हैं कि उन्होंने 2020 के राष्ट्रपति चुनाव में संभावित प्रतिद्वंद्वी जो बिडेन और उनके बेटे के खिलाफ भ्रष्टाचार की जांच के लिए यूक्रेन की सरकार पर दबाव बनाया।
- बिडेन के बेटे यूक्रेन की एक ऊर्जा कंपनी में बड़े अधिकारी हैं। ट्रंप और यूक्रेन के राष्ट्रपति वोलोडीमिर जेलेंस्की के बीच हुई कथित फोन वार्ता महाभियोग के लिए एक अहम सबूत है।