डॉ0 शकुन्तला मिश्रा विश्वविद्यालय परिसर में कृत्रिम अंग एवं पुनर्वास केन्द्र स्थापित

डॉ0 शकुन्तला मिश्रा विश्वविद्यालय परिसर में कृत्रिम अंग एवं पुनर्वास केन्द्र स्थापित

कृत्रिम उपकरण, कृत्रिम पैर एवं कैलीपर की निःशुल्क व्यवस्था

लखनऊः दिव्यांगजनों के सशक्तिकरण के लिये डॉ0 शकुन्तला मिश्रा राष्ट्रीय पुनर्वास विश्वविद्यालय महत्वपूर्ण भूमिका निभा रहा है। यह देश का पहला राष्ट्रीय विश्वविद्यालय है, जिसने दिव्यांगजनों को समाज की मुख्यधारा में शामिल करने एवं उच्चस्तरीय शिक्षा के साथ-साथ पुनर्वसन के उद्देश्य के दृष्टिगत विश्वविद्यालय परिसर में ही कृत्रिम अंग एवं पुनर्वास केन्द्र की स्थापना की गई है।
यह जानकारी विश्वविद्यालय के कुलसचिव श्री अमित कुमार ने आज यहां देते हुए बताया कि दिव्यांगजन को गुणवत्तापूर्ण पुनर्वास सेवाएं उपलब्ध कराने की बढ़ती मांग के दृष्टिगत केन्द्र द्वारा वर्तमान में उच्च तकनीक पर आधारित गुणवत्तापूर्ण कृत्रिम उपकरणों का निर्माण एवं फिटमेंट का कार्य किया जा रहा है, जिसके अन्तर्गत दिव्यांगजनों के कृत्रिम अंगों का निर्माण, कैलीपर तैयार करना एवं सहायक उपकरणों की आवश्यकतानुसार मरम्मत का कार्य निःशुल्क किया जा रहा है।
कुलसचिव ने बताया कि कृत्रिम अंग एवं पुनर्वास केन्द्र में दूर-दराज एवं ग्रामीण अंचल से आने वाले सभी दिव्यांगजनों को प्रत्येक कार्य दिवस में उनकी आवश्यकतानुसार यथासम्भव उसी दिन निःशुल्क कृत्रिम उपकरण प्रदान किए जाते हैं। दिव्यांगजनों को कृत्रिम पैर, कैलीपर एवं कृत्रिम उपकरण निःशुल्क उपलब्ध कराये जाने हेतु दिव्यांगता प्रमाण-पत्र की छायाप्रति, आधार कार्ड की छायाप्रति, आय प्रमाण-पत्र एवं दिव्यांगता को प्रदर्शित करते हुए फोटो आदि प्रपत्रों को साथ लाना अनिवार्य होगा।

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