पूरे प्रदेश में कैम्प लगाकर ऋण आवेदन पत्रों का निस्तारण कराया जाय-डा0 नवनीत सहगल

  • पूरे प्रदेश में कैम्प लगाकर ऋण आवेदन पत्रों का निस्तारण कराया जाय-डा0 नवनीत सहगल
  •  वर्ष 2020-21 में पीएमईजीपी योजना के अंतर्गत मार्जिन मनी वितरण में 127 प्रतिशत उपलब्धि हासिल की गई-अपर मुख्य सचिव
  • पीएमईजीपी कार्यक्रम के क्रियान्वयन हेतु निजी क्षेत्र के बैंकों को भी एस.एल.एम.सी. में शामिल करने का निर्णय

     लखनऊ: अपर मुख्य सचिव, सूक्ष्म, लघु एवं मध्यम उद्यम डा0 नवनीत सहगल ने प्रधानमंत्री रोजगार सृजन कार्यक्रम (पीएमईजीपी) के तहत गठित राज्य स्तरीय मॉनिटरिंग कमेटी (एस.एल.एम.सी.) की अध्यक्षता करते हुए कहा कि पूरे प्रदेश में कैम्प लगाकर ऋण आवेदन पत्रों का निस्तारण कराया जाय। उन्होंने कहा कि पिछले वर्ष 2020-21 में पीएमईजीपी योजना के अंतर्गत मार्जिन मनी वितरण में निर्धारित लक्ष्य के सापेक्ष 127 प्रतिशत उपलब्धि हासिल की गई है। इस वर्ष भी 150 प्रतिशत लक्ष्य प्राप्त किया जाना चाहिए। बैठक में पीएमईजीपी कार्यक्रम के क्रियान्वयन हेतु निजी क्षेत्र के बैंकों को भी एस.एल.एम.सी. में शामिल करने का निर्णय लिया गया।

    खादी एवं ग्रामोद्योग बोर्ड में आयोजित बैठक में अपर मुख्य सचिव ने कहा कि वर्ष 2020-21 में कोविड-19 महामारी का प्रकोप होने के बावजूद बैंकों द्वारा पीएमईजीपी योजना के अंतर्गत ऋण स्वीकृति में उत्तर प्रदेश देश में सर्वश्रेष्ठ रहा है। इस योजना के अंतर्गत 9954 इकाइयों की स्थापना हुई और इनमें 32791.15 लाख रुपये के मार्जिन मनी का वितरण किया गया। इस उपलब्धि के लिए उन्होंने राज्य के समस्त बैंक एवं एस.एल.एम.सी. को धन्यवाद भी दिया। उन्होंने कहा कि इस वर्ष 11069 इकाईयों को ऋण वितरण और इसके सापेक्ष 33435.00 लाख रुपये मार्जिन मनी देने का लक्ष्य है। परन्तु अभी तक लगभग 37 प्रतिशत मार्जिन मनी का वितरण ही हुआ है। बैंकों में छोटी-छोटी कमियों की वजह से लगभग 501 इकाइयों को 1538.70 लाख रुपये मार्जिन मनी का क्लेम लम्बित है। उन्होंने निर्देश दिए कि कमियों को तत्काल दूर कराकर मार्जिन मनी का वितरण सुनिश्चित किया जाय।
       
    डा0 सहगल ने कहा कि वर्तमान में पीएमईजीपी योजना के अन्तर्गत 3267 इकाइयों का ऋण स्वीकृत होने के बावजूद मार्जिन मनी क्लेम बैंक स्तर पर लम्बित है। इसी प्रकार 7720 ऋण आवेदन पत्र बैंकों में विचाराधीन है। उन्होंने सभी बैंकर्स से अपेक्षा की कि वे आगामी 31 अक्टूबर तक ऋण स्वीकृत वाले आवेदनों की मार्जिन मनी का क्लेम करें और लम्बित ऋण आवेदन का अतिशीघ्र निस्तारण भी करायें। उन्होंने यह भी कहा कि पीएमईजीपी इकाइयों के अपग्रेडेशन के लिए द्वितीय लोन योजना के क्रियान्वयन की गति धीमी है। द्वितीय लोन में नियमों की जटिलताओं के कारण इकाइयां दूसरा लोन प्राप्त नहीं कर पा रही है। उन्होंने नियमों में सरलीकरण हेतु उनकी तरफ से भारत सरकार को पत्र भेजने के निर्देश दिए

    अपर मुख्य सचिव ने कहा कि पीएमईजीपी ई-पोर्टल पर प्राप्त आवेदन पत्रों का निर्धारित समयावधि 26 दिनों के अन्दर हर-हाल में निस्तारण सुनिश्चित किया जाय। इसके साथ ही अब तक जिन पीएमईजीपी उद्यमियों को मार्जिन मनी निर्गत की जा चुकी है, उनका प्रशिक्षण पूर्ण कराया जाय। उन्होंने कहा कि भारत सरकार द्वारा पूरे प्रदेश में वर्ष 2016-17 से 2019-20 के बीच स्थापित पीएमईजीपी इकाइयों का भौतिक सत्यापन एवं जियो टैगिंग का कार्य कराया जा रहा है। उत्तर प्रदेश के 16 जनपदों में यह कार्य पूर्ण हो चुका है, शेष में प्रक्रियाधीन हैं। उन्होंने विभागीय अधिकारियों को निर्देश दिए कि भौतिक सत्यापन एवं जियो टैगिंग का कार्य कर रही एजेंसी से समन्वय बनाकर इस कार्य में तेजी लाई जाय।     
    बैठक में लघु उद्योग विभाग, खादी एवं ग्रामोद्योग बोर्ड सहित बैकों के प्रतिनिधि मौजूद थे।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Back to top button