योगी सरकार में मदरसों में कम हुई छात्रों की संख्या
उत्तर प्रदेश (Uttar Pradesh) में पिछले पांच साल में मदरसों (Madrasa) में पढ़ने वाले छात्रों की संख्या में लगातार गिरावट आ रही है. राज्य का नवगठित राज्य मदरसा शिक्षा परिषद (Madrasa Board) भी इसको लेकर चिंतित है. क्योंकि राज्य के मान्यता प्राप्त और सहायता प्राप्त मदरसों में साल दर साल छात्रों की संख्या घट रही है और जानकारी के मुताबिक राज्य में योगी आदित्यनाथ सरकार बनने के बाद मदरसों में 30 हजार छात्रों की संख्या में कमी आई है. वहीं मदरसा बोर्ड के सदस्यों का कहना है कि उन्हें सुविधाएं नहीं दी जा रही है. लिहाजा उन्हें मानदेय और भत्ता दिया जाए.
मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक मदरसा शिक्षा बोर्ड का कहना है कि पिछले पांच साल में मदरसों में पंजीकृत छात्रों के आंकड़ों में गिरावट आई है और इस दौरान राज्य में करीब 30 हजार छात्रों का कम पंजीकरण हुआ है. बोर्ड का कहना है कि परीक्षा वर्ष 2016 में इन मदरसों में पंजीकृत छात्रों की संख्या 422627 थी, जो परीक्षा वर्ष 2021 में घटकर 123046 हो गई. वहीं बोर्ड इन मदरसों में पढ़ाई के लिए छात्रों को आकर्षित करने के लिए नई योजना बना रही है. ताकि मदरसों की तरफ छात्र का रूझान हो. इसके लिए बोर्ड मदरसों में शिक्षा की गुणवत्ता में सुधार करने की रणनीति पर काम कर रहा है.
जानकारी के मुताबिक आठ दिसंबर को हुई मदरसा शिक्षा परिषद की बैठक में इस बात को लेकर चिंता जताई गई है कि मदरसों में छात्रों की संख्या कम हो रही है. लिहाजा इसके लिए मदरसों में शिक्षा की गुणवत्ता बढ़ाने कोशिश की जानी चाहिए. बोर्ड का कहना है कि सामान्य स्कूलों की तरह सामान्य शिक्षा के साथ ही धार्मिक शिक्षा दी जाए. इसके साथ ही शिक्षा को लेकर गुणवत्ता में सुधार पर जोर दिया गया.